आजीविका अवसरों को बढ़ाने के मिशन पर पीपीआई, प्रोफेशनल

बीजापुर 21 जून 2024- बीजापुर भारत के सबसे चुनौतीपूर्ण जिलों में से एक में सरकारी कामकाज को मजबूत करने के एक ठोस प्रयास में पब्लिक पॉलिसी इन एक्शन (पीपीआईए ) कार्यक्रम के प्रोफेशनल बीजापुर छत्तीसगढ़ में पर्याप्त प्रगति कर रहे हैं। यह पहल भारत जैसे अत्यधिक स्तरीकृत समाज में अत्यंत महत्वपूर्ण है। जहां वंचित लोग शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल, पानी और स्वच्छता जैसी आवश्यक सार्वजनिक सेवाओं पर बहुत अधिक निर्भर हैं।

बीजापुर में राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन (एसआरएलएम) के सहायक कार्यक्रम अधिकारी मनीष सोनवानी ने पीपीआई, कार्यक्रम की परिवर्तनकारी क्षमता पर प्रकाश डालते हुए कहा पीपीआई, एक गहन परिवर्तन नेतृत्व कार्यक्रम है जिसका उद्देश्य युवा प्रोफेशनल को कौशल और प्रेरणा से लैस करना है। देश में कुछ सबसे कठिन विकास चुनौतियों से निपटने के लिए इसकी आवश्यकता है। ये प्रोफेशनल बड़े लोक कार्यक्रमों की योजना, कार्यान्वयन और निगरानी पर रणनीतिक इनपुट प्रदान करने के लिए वामपंथी उग्रवाद (एलडब्ल्यूई) से प्रभावित जिला बीजापुर में जिला प्रशासन के साथ मिलकर काम करते हैं। इके द्वारा सहयोग किए जा रहे प्रमुख पहलों में एम 25, लखपति दीदी, महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (एमजीएनआरईजीएस, राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन और नीति आयोग द्वारा आकांक्षी जिला कार्यक्रम शामिल हैं।

राष्ट्रीय और राज्य दोनों स्तरों पर वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा निर्देशित और ट्रांसफॉर्मिंग रूरल इंडिया फाउंडेशन (टीआरआईएफ) जैसी तकनीकी सहायक संस्था द्वारा समर्थित, पीपीआई, प्रोफेशनल को स्वास्थ्य और पोषण, शिक्षा, कृषि सहित विभिन्न क्षेत्रों में विकासात्मक परिणाम प्राप्त करने में जिला प्रशासन की सहायता करने के लिए सहयोग भी दिया जाता है। जिस से सार्वजनिक बुनियादी ढाँचा, बुनियादी सेवाएँ, डेटा-संचालित शासन और सार्वजनिक प्रणाली वितरण में सुधार संभव हो सके।

पीपीआईए प्रोफेशनल सुश्री दिव्या नेगी और सूरज मिश्रा ने जिले की विशिष्ट आवश्यकताओं के अनुरूप कार्यक्रम की योजना, कार्यान्वयन और निगरानी को बढ़ाने में अपनी भूमिका को रेखांकित करते हुए कहा कि हम योजना, समन्वय, निगरानी, दस्तावेज़ीकरण और रिपोर्टिंग सहित व्यापक कार्यक्रम प्रबंधन के माध्यम से सिस्टम संवर्द्धन का समर्थन करते हैं। इसके अतिरिक्त हम गृह मंत्रालय (एमएचए) के तहत एससीए, आरआरपी, आरसीपी और मोबाइल टॉवर परियोजनाओं जैसी प्रमुख योजनाओं के लिए निर्बाध डेटा प्रवाह सुनिश्चित करते हैं और प्रबंधन सूचना प्रणाली (एमआईएस) का प्रबंधन करते हैं। राज्य और जिला प्राथमिकताओं के साथ हमारा रणनीतिक संरेखण, विशेष रूप से आकांक्षी जिला कार्यक्रम, आकांक्षी ब्लॉक कार्यक्रम, डीएवाई.एनआरएलएम और एमजीएनआरईजीएस के ढांचे के भीतर महत्वपूर्ण है।

डिप्टी कलेक्टर और जिले के लिए नीति आयोग के नोडल अधिकारी, उत्तम पंचारी ने पीपीआईए प्रोफेशनल की सराहना की और कार्यक्रम डिजाइन और वितरण के लिए उनके अभिनव, साक्ष्य.आधारित दृष्टिकोण के बारे में बताते हुए कहा, उनके प्रयासों ने संदर्भ, संस्थानों, एजेंटों और घटनाओं से जुड़ी जटिल परिवर्तन प्रक्रियाओं पर ध्यान केंद्रित करते हुए सोच के नए प्रतिमानों की शुरुआत की है। उनके एवं सबंधित विभागों के योगदान से नीति आयोग के आकांक्षी जिला कार्यक्रम में जिले को उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल हुई हैं। जिसमें बीजापुर की राष्ट्रीय रैंकिंग ओवरऑल 5वीं रैंक (जनवरी 2023), ओवरऑल 5वीं रैंक (अप्रैल 2023), और ओवरऑल 5वीं रैंक (जनवरी 2024) के साथ-साथ विभिन्न थीम यथा वित्तीय समावेशन और कौशल विकास में दूसरी रैंक (अगस्त 2022), वित्तीय समावेशन और कौशल विकास में पहली रैंक और स्वास्थ्य और पोषण में चौथी रैंक (जनवरी 2023) और वित्तीय समावेशन और कौशल विकास में पहली रैंक (जनवरी 2024)।

पीपीआईए प्रोफेशनल का एक महत्वपूर्ण फोकस सार्वजनिक बुनियादी ढांचे और सेवाओं को बढ़ाने के उद्देश्य से पहल करना है। इसमें शिक्षा और स्वास्थ्य बुनियादी ढांचे को मजबूत करना, ग्राम स्वास्थ्य स्वच्छता और पोषण दिवस (वीएचएसएनडी), सहज सेवा केंद्र, सामुदायिक किराया केंद्र, फील्ड किसान स्कूल और प्रदर्शन योग्य कृषि भूमि शामिल हैं। वे बैंकिंग लिंकेज और वृद्धावस्था पेंशन और स्वच्छ भारत मिशन (एसबीएम) शौचालय जैसी व्यक्तिगत लाभ योजनाओं की संतृप्ति सुनिश्चित करने के लिए भी परिश्रमपूर्वक काम करते हैं।

एक उल्लेखनीय पहल मिशन 25 मिलियन लखपति महिला किसान कार्यक्रम है, जिसका उद्देश्य स्वयं सहायता समूह (एसएचजी) के सदस्य परिवारों, युवाओं और अन्य कमजोर समुदायों की आजीविका को बढ़ाना है। यह पहल एसएचजी सदस्यों की आय को प्रति वर्ष 1 लाख रुपये से अधिक तक बढ़ाने के लिए कृषि, बागवानी, बैंकों और मत्स्य पालन जैसे विभागों के साथ अभिसरण करती है। आजीविका गतिविधियों में विविधता लाने और किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) को विकसित करके यह कार्यक्रम बिचौलियों को खत्म करना चाहता है, जिससे परिवारों के लिए आय के अवसर बढ़ सकें ।

ग्रामीण समुदायों को एकजुट करके और क्षमता निर्माण करके, पीपीआईए प्रोफेशनल गरीबी में फंसे हुए लोगों को प्रशासन के साथ मांग रखने, सार्वजनिक संसाधनों के सदुपयोग करने और सामुदायिक निवेश को बढ़ावा देने के लिए सशक्त बनाते हैं। वे मौजूदा योजनाओं, कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर), उद्योग और जिला खनिज फाउंडेशन ट्रस्ट (डीएमएफटी) से निवेश और राजस्व का लाभ उठाते हुए, आर्थिक विकास के अवसरों की कुशलता से पहचान करते हैं और जुटाते हैं।

स्थानीय विभागों के सहयोग से निरंतर निगरानी और डेटा प्रबंधन के माध्यम से, पीपीआईए प्रोफेशनल न केवल बीजापुर के निवासियों की आजीविका बढ़ा रहे हैं, बल्कि संघर्ष प्रभावित क्षेत्रों में प्रभावी शासन और विकास के लिए एक मानक भी स्थापित कर रहे हैं।

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